
बुलंदशहर, 19 नवंबर (Crimes Of India) । Uttar Pradesh के बुलंदशहर में विवाहिता से गैंगरेप करने, बंधक बनाने और हजारों रुपए वसूलने के मामले की जांच में Police इंस्पेक्टर और चाैकी इंचार्ज की लापरवाही उजागर होने के बाद निलंबन की कार्रवाई की गई है। एसएसपी दिनेश कुमार सिंह ने इंस्पेक्टर दिग्विजय राठी, कोतवाल पंकज राय, दरोगा इकराम अली और शुभम राठी को निलंबित कर दिया है।
यह मामला तब सामने आया जब पीड़िता छह दिन पहले दाैरे पहुंचे डीआईजी कलानिधि नैथानी की कार के सामने जाकर गिर पड़ी और रोते हुए उन्हें पूरी घटना की जानकारी दी। मामला खुर्जा काेतवाली का है। पीडिता ने उन्हें बताया कि जांच के नाम पर दराेगा ने न केवल Rape किया बल्कि हजाराें रुपए रिश्वत भी ली। इनमें दराेगा इकराम अली का नाम सबसे ऊपर है। यही नहीं पीड़िता ने यह भी बताया था कि गैंगरेप के आरोपी खुले घूम रहे हैं, लेकिन Police पकड़ नहीं रही है। Police ने पीड़िता को डीआईजी तक न पहुंचने देने के लिए घेराबंदी की थी लेकिन इसके बावजूद पीड़िता आपबीती सुनाने के लिए पहुंचने में कामयाब हो गई थी। डीआईजी के सामने गैंगरेप का मामला आने के बाद पूरे प्रदेश में बुलंदशहर Police की फजीहत हाे रही थी। यही नहीं इस घटना ने Police की कार्यशैली पर भी गंभीर प्रश्न खड़े कर दिए थे।
मामले की गंभीरता देखते हुए डीआईजी ने संबंधित अफसराें काे डांट लगाई और जरूरी कार्रवाई के निर्देश दिए। इसके बाद एसएसपी ने मामले की जब अपने स्तर से जांच कराई तो पीड़िता के कई आराेप सत्य पाए गए और फिर कार्रवाई शुरू की गई है । एसएसपी ने इंस्पेक्टर दिग्विजय राठी, दरोगा इकराम अली और शुभम राठी को निलंबित कर दिया है। इससे पहले भी इस मामले में खुर्जा कोतवाल पंकज राय को लाइन हाजिर किया गया था। इन्हें भी निलंबित किया गया है।
यह है मामला
पीड़िता का कहना है कि 3 जून को गांव के छह युवकों ने उसके साथ गैंगरेप किया था। यह बताया कि खुर्जा Police ने एफआईआर दर्ज करने में सात दिन लगाए और मामला 10 जून को दर्ज हुआ। इनमें आठ आरोपियों में से चार की Arrested ी हो चुकी है, जबकि चार आरोपी अब भी फरार हैं। यही नहीं महिला काे नुमाइश दिखाने के बहाने अलीगढ़ ले जाकर रेप करने, बंधक बनाने और धर्म परिवर्तन कराने वाले आराेपी आशिक को भी दराेगा इकराम अली ने खूब संरक्षण दिया।
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(Crimes Of India) / Harsh Gautam

